पटना : पूर्व उप मुख्यमंत्री एवं राज्यसभा सांसद सुशील कुमार मोदी ने कहा कि शिक्षा विभाग के अवर मुख्य सचिव (एसीएस) केके पाठक एक तरफ दलित समुदाय से आने वाले राज्यपाल राजेंद्र विश्वनाथ आर्लेकर को अपमानित करने पर तुले हैं और दूसरी तरफ शिक्षा में बदहाली को लेकर जदयू को आईना दिखा रहे हैं. इसी दल के लोग 15 साल तक शिक्षा मंत्री होते रहे.
जदयू को जिम्मेदारी लेकर लाखों गरीब छात्रों के अभिभावकों से माफी मांगनी चाहिए
मोदी ने शुक्रवार को बयान जारी कर कहा कि शिक्षा विभाग जब राजद कोटे में गया तब मुख्यमंत्री ने मंत्री चंद्रशेखर को नियंत्रण में रखने के लिए विवादास्पद केके पाठक को एसीएस बना दिया. आखिर केके पाठक कब तक फजीहत कराएंगे? उन्होंने कहा कि पाठक की कार्यशैली से हालात ऐसे हो गए कि चंद्रशेखर 22 दिन तक कार्यालय नहीं गए. यदि शिक्षा विभाग इतना बदहाल रहा कि उसमें सुधार के लिए अब किसी अधिकारी को सामूहिक वेतन कटौती और निलंबन जैसी सख्ती करनी पड़ रही है तो जदयू को इस विफलता की जिम्मेदारी लेकर लाखों गरीब छात्रों के अभिभावकों से माफी मांगनी चाहिए.
उन्होंने कहा कि यदि केके पाठक की धमकाने और कानून का डंडा चलाने वाली कार्यशैली ही ठीक है तो वे अब तक किसी विभाग में क्यों नहीं टिक पाए? पाठक शिक्षा विभाग में दूसरी बार लाए गए. मुख्यमंत्री बताएं कि उत्पाद, खनन, परिवहन और निबंधन जैसे विभागों से उनको क्यों हटाना पड़ा और अब वे कब तक शिक्षा विभाग में रह कर सरकार की फजीहत कराते रहेंगे?