11 साल बाद रिलीज होने वाली फिल्म ‘ओह माय गॉड-2’ में अभिनेता अक्षय कुमार भगवान शंकर की भूमिका निभा रहे हैं. सेंसर बोर्ड ने उनकी भूमिका में बदलाव और 35 अन्य दृश्यों को हटाने के लिए कहा था. इसके खिलाफ बोर्ड से पुनर्विचार की मांग करने वाले निर्माताओं की कोशिश सफल रही है. अब बिना किसी कट के रिलीज होने वाली इस फिल्म को एडल्ट फिल्म सर्टिफिकेट से संतोष करना पड़ा है.
महाकालेश्वर मंदिर के मुख्य पुजारी ने सीन हटाने की मांग की थी
फिल्म ‘ओह माय गॉड-2’ 11 अगस्त को रिलीज हो रही है. इससे पहले फिल्म का टीजर रिलीज किया गया था. टीज़र देखने के बाद महाकालेश्वर मंदिर के मुख्य पुजारी ने मांग की कि मंदिर में फिल्माए गए कुछ दृश्यों को हटा दिया जाए.
अक्षय कुमार को भगवान के बजाय देवदूत दिखाया जाए
इसके अलावा लोग ये भी मांग कर रहे थे कि अक्षय कुमार को भगवान के बजाय देवदूत के किरदार में दिखाया जाए. इसी पृष्ठभूमि में सेंसर बोर्ड ने फिल्म के करीब 35 सीन काटने का सुझाव दिया था. इसके खिलाफ फिल्म निर्माताओं ने सेंसर बोर्ड से अपील की. आख़िरकार फ़िल्म की दोबारा जांच की गयी.
पुनर्परीक्षा समिति ने कोई भी दृश्य नहीं हटाया
पुनर्परीक्षा समिति ने फिल्म से कोई भी दृश्य नहीं हटाया है, लेकिन फिल्म में 25 बदलाव सुझाकर एडल्ट फिल्म का सर्टिफिकेट बरकरार रखा गया है. आज के समय में स्कूली उम्र में ही यौन शिक्षा देना जरूरी हो गया है. इस विषय पर टिप्पणी करते हुए, यह फिल्म हर उम्र के लोगों को जरूर देखनी चाहिए.
निर्माताओं ने कहा कि सर्टिफिकेट बदला जाना चाहिए
इसलिए निर्माताओं ने कहा कि सर्टिफिकेट बदला जाना चाहिए. लेकिन प्रदर्शनी के लिए अब कम समय बचा है और काफी कटौती करनी पड़ेगी. इसलिए निर्माताओं ने वयस्क फिल्म प्रमाणन को आगे बढ़ाने का फैसला किया है.