जेएसएससी-सीजीएल परीक्षा में इंटरनेट बैन को बाबूलाल मरांडी ने बताया तुगलकी फरमान

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रांची : भाजपा प्रदेश अध्यक्ष बाबूलाल मरांडी ने राज्य में दो दिनों के लिए इंटरनेट बैन को तुगलकी फरमान बताया है. इसे लेकर राज्य सरकार के फैसले काे लेकर शनिवार काे एक्स पर पोस्ट करते कहा कि हेमंत सरकार द्वारा झारखंड में दो दिनों के लिए सुबह से दोपहर तक (8:00-1:30 ) इंटरनेट बंद किए जाने का निर्णय अव्यवहारिक और हास्यास्पद है.

मरांडी ने कहा कि जेएसएससी सीजीएल परीक्षा की परीक्षा देने के लिए कई राज्यों के अभ्यर्थी शामिल हो रहे हैं. इंटरनेट बंद कर देने के फैसले दूसरे राज्यों से आए अभ्यर्थियों को कठिनाई का सामना करना पड़ रहा है. उन्होंने कहा कि इंटरनेट हमारी दैनिक दिनचर्या का अभिन्न हिस्सा बन चुका है. बच्चों की पढ़ाई लिखाई से लेकर बैंकिंग कार्यों तक, सरकारी दफ्तरों से लेकर गांवों के प्रज्ञा केंद्रों तक…स्कूल, कचहरी, अस्पताल, मकान, दुकान, सड़क यातायात, रेल सेवा, हवाई सेवा, इंटरनेट हर जगह की जरूरत बन चुका है. आपके द्वारा इंटरनेट बंद किए जाने के निर्णय से आम जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया है. लोगों के काम-धंधे प्रभावित हो रहे हैं, राज्य की अर्थव्यवस्था चरमरा सकती है.

बाबूलाल ने हेमंत सोरेन से अनुरोध करते कहा है कि जेएसएससी सीजीएल परीक्षा का पेपर लीक रोकने के नाम पर इंटरनेट बंदी के बेतुके और असंवैधानिक तुगलकी फरमान को अविलंब वापस लें.

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